Bilaspur land mafia: निगम प्रशासन ने अवैध कब्जे को लेकर कराई जांच, जल्द आरोपी पर होगी कार्रवाई

Umesh Sahu

Bilaspur land mafia: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर शहर में भू-माफिया का आतंक को लेकर नगर निगम अब खुलकर सामने आ गया है। नगर निगम ने ऐसे माफियाओं (Bilaspur land mafia) पर पांबदी लगाने के लिए अभियान चलाने की तैयारी में हैं। निगम अब शहर की जमीनें जहां भी अवैध कब्जा हुई हैं। उनको भूमाफियाओं के चंगुल से खाली करवाएगा।

इसकी शुरुआत निगम अमला मैग्नेटो माल के पास वाली जमीन को खाली कराकर करेगा। इसको लेकर निगम के अधिकारियों ने बताया कि इस हाईप्रोफाइल मामले में जांच करा ली है। जल्द ही इसको लेकर कार्रवाई की तैयारी में हैं।

बता दें शहर के मध्य स्थित मैग्नेटो मॉल के सामने की हाई-प्रोफाइल जमीन पर अवैध कब्जे और सौदेबाजी का एक बड़ा मामला सामने आया है। नगर निगम की करीब 1235 वर्गफीट जमीन को निजी जमीन बताकर बेच दिया गया था। जिसमें निगम अब कार्रवाई की तैयारी में है।

जानिए… क्या है मामला:

छत्तीसगढ़ के बिलासपुर शहर में भू-माफिया का आतंक लगातार बढ़ते ही जा रहा है। शहर के मध्य स्थित मैग्नेटो मॉल के सामने की हाई-प्रोफाइल जमीन पर अवैध कब्जे और सौदेबाजी का एक बड़ा मामला सामने आया है। नगर निगम की करीब 1235 वर्गफीट जमीन को निजी जमीन बताकर बेच दिया गया।

सूत्रों के अनुसार भू-माफिया पप्पू यादव उर्फ अश्विनी यादव (Bilaspur land mafia) ने राजस्व अधिकारियों और राजनैतिक साठगांठ के बल पर इस बेशकीमती जमीन को पहले कौड़ियों के भाव खरीदा और फिर करोड़ों रुपये में दूसरे पक्ष को बेच दिया। विवादित इस जमीन को एक महिला उषा चौहान की बताकर फर्जीवाड़ा किया गया।

Bilaspur land mafia मामले की पूरी पृष्ठभूमि:

यह जमीन पटवारी हल्का नंबर 36, खसरा नंबर 723, जूना बिलासपुर में स्थित है। जमीन के कई टुकड़े हैं जो वर्षों से विवादित रहे हैं। राजस्व रिकॉर्ड के अनुसार, यहां नगर निगम की भी दो जमीनें शामिल हैं। एक 1200 वर्गफीट और दूसरी 35 वर्गफीट की। पुराने नक्शों में यह जमीन रास्ता मद में दर्ज है।

इसके बावजूद पप्पू यादव (Bilaspur land mafia) ने राजनीतिक दबाव और गुंडागर्दी के दम पर कब्जा कर लिया। 12 डिसमिल जमीन, जिसका खसरा नंबर 723 और 208 है, उसे राजस्व अफसरों की मिलीभगत से बेच दिया गया। नामांतरण आवेदन बिलासपुर तहसील कार्यालय में अभी भी लंबित है।

नगर निगम की निष्क्रियता पर सवाल

नगर निगम ने 23 मार्च 2025 को पप्पू यादव (Bilaspur land mafia) को नोटिस जारी कर तीन दिन में जवाब मांगा था। लेकिन जवाब महज खानापूर्ति रहा। इसके बावजूद अब तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है। जबकि शहर में दूसरी जगहों पर अवैध कब्जा हटाकर नगर निगम ने जमीनें वापस ले ली हैं।

इस मामले में नगर निगम की दोहरी नीति पर भी सवाल उठ रहे हैं। प्रशासनिक चुप्पी के पीछे बड़े पैमाने पर लेन-देन और राजनीतिक संरक्षण की बात सामने आ रही है। लोगों का कहना है कि प्रशासन भ्रष्टाचार के दबाव में काम कर रहा है।

जांच पूरी अब कार्रवाई की तैयारी

आरआई समेत अन्य अधिकारियों की टीम ने मौके पर पहुंचकर जांच की है। पूरी जांच रिपोर्ट तैयार कर ली गई है। जल्द ही इस पर कार्रवाई की जाएगी। इसके बाद शहर की अन्य जमीनें जिस पर भू-माफिया का कब्जा है,उस पर भी अभियान चलाकर कार्रवाई की जाएगी।

खजांची कुम्हार, अपर आयुक्त, नगर निगम बिलासपुर

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